51000 रुद्राक्ष धारण करने के संकल्प में है बाबा मौनी महाराज
- Aditi
- Saturday | 12th January, 2019
- local
- शिवयोगी मौनी महाराज पांच सौ मालाएं पहनते हैं
- अब इक्यावन हजार रुद्राक्ष धारण करने के लक्ष्य पर हैं
- सिर्फ भेंट किए गए रुद्राक्ष ही पहनते हैं
प्रयागराज में कुंभ 14 जनवरी मकर संक्रांति से शुरू होने वाला हैं। जिसमें कई संत- महात्मा हर बार की तरह इस बार भी अपने अनूठे अंदाज़ नजर में आएंगे और इस ख़ास गेटअप की वजह से ही श्रद्धालुओं के बीच आकर्षण का केंद्र बनते हैं। बता दें इन्हीं में से एक हैं शिवयोगी मौनी महाराज जिन्हें लोग रुद्राक्ष वाले बाबा के नाम से जानते हैं। मौनी महाराज ग्यारह हजार रुद्राक्षों की माला पहनकर जब मेले में निकलते हैं तो उन्हें देखने के लिए लाखों की संख्या में लोगों की भीड़ लग जाती हैं।
सिर से कमर तक वह रुद्राक्ष से ही ढ़के होते हैं। आपको बता दें रुद्राक्ष की एक-दो नहीं बल्कि पांच सौ मालाएं वह एक साथ पहने रहते हैं। जिनमें कोई माला ग्यारह रुद्राक्ष की तो कोई इक्कीस, इक्यावन और एक सौ आठ रुद्राक्षों की होती है। इसके अलावा सौ माला वह अपने सिर पर बांधे रहते हैं जिनमें कई रुद्राक्ष एकमुखी तो कई सोलह मुखी होते है। मौनी महाराज का ग्यारह हजार रुद्राक्ष धारण करने का संकल्प साल भर पहले ही पूरा हो चुका है अब वह इक्यावन हजार रुद्राक्ष धारण करने के लक्ष्य पर हैं।
इन बाबा की खासियत यह है कि वह खरीदे हुए और किसी से मांगे हुए रुद्राक्ष नहीं पहनते। वह सिर्फ किसी संत या महापुरुष द्वारा भेंट किए गए रुद्राक्ष ही पहनते हैं। बता दें सोलह मुखी रुद्राक्ष और सिर पर मालाओं से सजा चांद के आधे आकार का मुकुट कुछ दिनों पहले उन्हें नेपाल नरेश ने भेंट किया था। मौनी महाराज रुद्राक्ष धारण करने के नियमों का पूरी तरह पालन करते हैं। वह पहले रुद्राक्षों की रोज़ पूजा करते हैं और उन्हें मंत्रों से अभिसिंचित करते है।