13 घंटे से अधिकने पर एक्सरसाइज तक बे बैठअसर
- by Feature Desk
- Tuesday | 16th April, 2019
- दिनभर में ज्यादा समय तक बैठने से एक्सरसाइज के कारण शरीर को होने वाले मेटाबॉलिक फायदे खत्म हो जाते हैं।
- इसका संबंध भोजन पचाने की क्रिया सेजुड़ा है। एप्लाइड फिजियोलॉजी जर्नल में प्रकाशित एक छोटी स्टडी के निष्कर्ष चिंताजनक हैं।
- अधिक समय तक बैठने वाले लोगों को कई लाइलाज बीमारियों का खतरा रहता है।
दिनभर में ज्यादा समय तक बैठने से एक्सरसाइज के कारण शरीर को होने वाले मेटाबॉलिक फायदे खत्म हो जाते हैं। मेटाबॉलिज्म (चयापचय) की प्रक्रिया जीवन चलाने के लिए उपयोगी है। इसका संबंध भोजन पचाने की क्रिया सेजुड़ा है। एप्लाइड फिजियोलॉजी जर्नल में प्रकाशित एक छोटी स्टडी के निष्कर्ष चिंताजनक हैं। निष्क्रियता से हमारा शरीर अनहैल्दी तो होता ही है, लेकिन उससे एक्सरसाइज से सेहत को होने वालेफायदे भी खत्म हो जाते हैं।
अधिक समय तक बैठने वाले लोगों को कई लाइलाज बीमारियों का खतरा रहता है। ऐसे लोगों को कई मेटाबॉलिक समस्याएं हो सकती हैं जिनसे डायबिटीज, दिल की बीमारियों का खतरा बढ़ता है।
निष्क्रियता और एक्सरसाइज के बीच जैविक संबध पेचीदा है। क्या बैठना इसलिए स्वास्थ्य के लिए ठीक नहीं हैकि क्योंकि हम बैठे हुए एक्सरसाइज नहीं कर रहे होते हैं? या सिटिंग के हमारे शरीर पर अनूठे प्रभाव होते हैं और यदि ऐसा है तो क्या ये एक्सरसाइज से होने वालेफायदों को बेअसर कर सकते हैं। इन सवालों को ध्यान में रखकर विशेषज्ञों ने स्वस्थ लोगों पर निष्क्रिय बैठे रहने के प्रभावों का अध्ययन करने का निर्णय लिया।
टैक्सास यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने दस स्वस्थ और सक्रिय ग्रेजुएट छात्रों के समूह को लगातार चार दिन तक दिनभर में 13 घंटे बैठाया। स्टडी में शामिल छात्रों से कहा गया कि वे बहुत ज्यादा यहां-वहां न घूमें। अपनी हलचल को चार हजार कदमों तक सीमित रखें। उनके शरीर पर एक्टिविटी मॉनिटर लगाए । कम कैलोरी का खाना खिलाया गया।
पांचवें दिन उनका शरीर ढीला और सुस्त पड़ गया था। नाश्ते के बाद उनके शरीर में ब्लड शुगर और ट्राईग्लिसराइड्स का स्तर ज्यादा पाया गया। उनके शरीर में इंसुलिन के काम करने की प्रक्रिया धीमी हो गई थी। इसके बाद फिर चार दिन तक 13 घंटे निष्क्रिय बैठाया। लेकिन, चौथेदिन उन्हें एक घंटे तक ट्रेडमिल पर दौड़ने की एक्सरसाइज कराई। पांचवें दिन जांच करने पर उनके ब्लड शुगर के स्तर में कोई अंतर नहीं पाया गया।
स्टडी के लेखक प्रोफेसर डॉ. एडवर्ड कोयले का कहना है, स्टडी से संकेत मिलते हैं कि लंबे समय तक शारीरिक गतिविधि न करने पर एक्सरसाइज के बावजूद मेटाबॉलिक गतिविधियों में सुधार नहीं होता है। हमारे शरीर के अंदर एेसी स्थितियां निर्मित हो जाती हैं, जो सामान्य मेटाबॉलिज्म का प्रतिरोध करती हैं। स्टडी यह नहीं बताती हैकि 10, 5 या 15 घंटे तक बैठने या एक्सरसाइज करने से मेटाबॉलिज्म अलग तरीके सेप्रभावित हो सकता है। डॉ. कोयले का कहना है,स्टडी के परिणाम बताते हैं कि दिनभर निष्क्रिय बैठना किसी भी स्थिति में अच्छा नहीं है।
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