उत्तराखंड आध्यात्मिक शांति और शारीरिक उपचार की दृष्टि से कल्याण का स्रोत: राष्ट्रपति
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- Thursday | 8th December, 2022

देहरादून, आठ दिसंबर (भाषा) उत्तराखंड को आध्यात्मिक शांति के साथ ही (शारीरिक) उपचार का भी स्रोत बताते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने बृहस्पतिवार को कहा कि यहां चिकित्सा पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं जिससे युवाओं में रोजगार के अवसर भी बढेंगे।
उत्तराखंड के दो दिवसीय दौरे पर आईं राष्ट्रपति ने देर शाम यहां मुख्यमंत्री आवास में आयोजित "नागरिक अभिनंदन" कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि उत्तराखंड आध्यात्मिक शांति और उपचार दोनों ही दृष्टियों से कल्याण का स्रोत रहा है ।
इस संबंध में उन्होंने भगवान राम के भाई लक्ष्मण के उपचार का भी जिक्र किया और कहा कि लोकमान्यता है कि हनुमान इसी क्षेत्र के द्रोण पर्वत को "संजीवनी बूटी" सहित लेकर गए थे ।
उन्होंने कहा, ‘‘ मुझे यह जानकर प्रसन्नता हो रही है कि आधुनिक चिकित्सा के साथ ही आयुर्वेद चिकित्सा के क्षेत्र में उत्तराखंड सरकार अपनी परंपराओं को आगे बढ़ाते हुए नई-नई संस्थाएं स्थापित कर रही है।
प्रदेश में प्राकृतिक चिकित्सा के कई प्रसिद्ध केंद्र हैं जहां देश-विदेश के लोग आकर स्वास्थ्य लाभ करते हैं।
उत्तराखंड में प्राकृतिक पर्यटन और साहसिक पर्यटन के साथ ही चिकित्स पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं जिससे युवाओं में रोजगार के अवसर भी बढेंगे ।’’
हिमालय में रहने वालों को देवता बताते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि वह उनके बीच आकर बहुत प्रसन्न हैं ।
उन्होंने यहां की प्राकृतिक सुंदरता और यहां के लोगों के प्रेमपूर्ण व्यवहार का जिक्र करते हुए कहा कि इसने स्वामी विवेकानंद से लेकर महात्मा गांधी और कवि सुमित्रानंदन पंत तक को मंत्रमुग्ध किया था।
हांलांकि, उन्होंने कहा कि इस प्राकृतिक सुंदरता को बचाते हुए हमें विकास के मार्ग पर आगे बढना है ।
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