कांग्रेस जातिवादी पार्टी है, दिग्विजय सिंह नहीं चाहते गठबंधन: मायावती

संक्षेप:

  • मायावती ने की प्रेस कांफ्रेंस
  • बोली- कांग्रेस से गठबंधन न होने के लिए दिग्विजय जिम्मेदार
  • कांग्रेस की रस्सी जल गई, बल नहीं गया: मायावती

भारतीय जनता पार्टी या एनडीए के खिलाफ राष्ट्रीय स्तर पर  विपक्षी एकता की कवायदों पर सबसे पहले बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने पानी फेर दिया है. कांग्रेस से नाराज चल रहीं बसपा सुप्रीमो मायावती ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कांग्रेस पर जमकर हमला बोला और गठबंधन न होने के लिए दिग्विजय सिंह ठीकरा फोड़ा.

बसपा प्रमुख मायावती ने कहा कि सोनिया गांधी और राहुल गठबंधन चाहते थे. मगर दिग्विजय सिंह और कई नेता गठबंधन के खिलाफ थे. वे नहीं चाहते थे कि हमारे बीच गठबंधन हो. मायावती ने कहा कि कांग्रेस बसपा की पहचान को खत्म करना चाहती है. दिग्विजय सिंह और कुछ अन्य नेता नहीं चाहते थे कि बसपा और कांग्रेस के बीच गठबंधन हो. कांग्रेस जातिवादी पार्टी है.

कांग्रेस पार्टी पर हमला करते हुए मायावती ने कहा कि कांग्रेस पार्टी गठबंधन की आड़ में बीएसपी को समाप्त करना चाहती है. बीएसपी और कांग्रेस में गठबंधन न होने पाए इसके पीछे दिग्विजय सिंह का निजी स्वार्थ शामिल है. मायावती ने कहा कि कांग्रेस पार्टी की रस्सी जल गई, मगर बल नहीं गया. कांग्रेस ने गुजरात से कुछ सबक नहीं लिया.

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मायावती ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और सोनिया गांधी दोनों आने वाले विधानसभा चुनावों और लोकसभा चुनावों के लिए बसपा के साथ गठबंधन चाहते थे. मगर यह दुख की बात है कि कांग्रेस पार्टी में दिग्विजय सिंह और अन्य नेताओं ने केंद्रीय जांच एजेंसी मसलन सीबीआई की डर से ऐसा नहीं होने दिया. वे किसी भी कीमत पर हमारे बीच में कोई चुनावी गठजोड़ नहीं चाहतेे. मायावती ने कहा कि दिग्विजय सिंह भाजपा के एजेंट हैं.

मायावती ने आगे कहा कि यह हैरान करने वाली बात है कि कांग्रेस का ये नेता (दिग्विजय सिंह) जो कि बीजेपी का एजेंट है वह टीवी पर बसपा प्रमुख का नाम लेकर कहते हैं कि मायावती केंद्र सरकार के दवाब में गठबंधन नहीं करना चाहती. जो कि यह पूरी तरह से झूठ है. उन्होंने कहा कि जिन लोगों को बीएसपी के संघर्ष के बारे में जानकारी नहीं है उन्हें बीएसपी के इतिहास को पढ़ने की जरूरत है. सच यह है कि कांग्रेस पार्टी बसपा को और इसके अस्तित्व को खत्म करना चाहती है.

सच तो यह है कि कांग्रेस ने देश पर राज करने के लिए दलितों का इस्तेमाल किया और वह जातिवाद और सांप्रदायिक माइंडसेट की है और उसने दलित समुदाय के लिए आज तक कुछ भी नहीं किया है. उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस पार्टी गठबंधन की आड़ में बीएसपी को समाप्त करना चाहती है. 

मायावती ने कहा कि मध्य प्रदेश और राजस्थान में बीएसपी अकेले अपने दम पर चुनाव लड़ेगी. किसी भी कीमत पर हमारा कांग्रेस के साथ कोई गठबंधन नहीं होगा. उन्होंने कहा कि कांग्रेस बीजेपी से ज्यादा गैर-बीजेपी दलों को कमजोर करने की कोशिश में लगी रहती है. 

मायावती ने कहा कि कांग्रेस बीजेपी से डरी हुई है और यह सच है. यही वजह है कि वह मुस्लिमों को टिकट देने से भी कतरा रही है. हम हमेशा से बीजेपी को सत्ता से बाहर रखना चाहते हैं, यही वजह है कि हमने क्षेत्रीय पार्टियों के साथ गठबंधन किया. अब राजस्थान और मध्य प्रदेश में मुझे लगता है कि कांग्रेस का इरादा बीजेपी को हराने की नहीं है, बल्कि वह उनके साथ दोस्ती रखने वाली पार्टियों को ही हानि पहुंचाना चाहती है. 

मायावती ने कहा कि कांग्रेस बीजेपी को हराना नहीं चाहती, बल्कि अपने पार्टनर्स को ही हराना चाहती है. उन्होंने कहा कि राजस्थान और मध्य प्रदेश में या तो हम क्षेत्रीय पार्टियों के साथ गठबंधन करेंगे या फिर अकेल चुनाव लड़ेंगे, मगर कांग्रेस के साथ मिलकर चुनाव नहीं लड़ेंगे. 

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