जानिए, कौन है डारिया मोलचन ?, बड़े-बड़े बिजनेसमैन से रहा इसका कनेक्शन

संक्षेप:

  • गोरखपुर जेल में बंद यूक्रेनी मॉडल डारिया मोलचन होगी रिहा
  • यूपी एसटीएफ ने गोरखपुर में दो अप्रैल को किया था गिरफ्तार
  • बिना विजा पासपोर्ट के भारत में आने का मकसद का नहीं चला पता

गोरखपुर जेल में बंद यूक्रेनी मॉडल डारिया मोलचन को मिली जमानत के बाद आज वह जेल से रिहा हो जाएगी। आपको बता दें कि फर्जी तरीके से भारत में दाखिल होने के बाद नेपाल के रास्ते फरार होने की फिराक में लगी डारिया को यूपी एसटीएफ ने गोरखपुर में दो अप्रैल को गिरफ्तार किया था। उसे ले जाने के लिए उसके दो साथी कल चार्टर प्लेन लेकर आए थे लेकिन ज़मानत देर से मिलने के कारण डारिया कल जेल से बाहर नहीं आ पाई। इस चक्कर में चार्टर प्लेन को गोरखपुर से वापस भेजना पड़ा।

कौन है डारिया मोलचन?

डारिया मोलचन नेपाल के रास्ते यूक्रेन से बिना विजा व पासपोर्ट के भारत आई थी। उसे यहां शहर में बिजनेसमैन अनुज पोद्दार ने ठहराया था। एसटीएफ व पुलिस की जांच में डारिया के संबंध सिर्फ गोरखपुर में ही नहीं बल्कि दिल्ली से लेकर नेपाल व कोलकाता तक के बड़े बिजनेसमैन से हैं। जबकि इससे पहले डारिया को दिल्ली से ब्लैकलिस्ट कर यूक्रेन वापस भेजा जा चुका था। बावजूद इसके अब तक जांच में यह स्पष्ट नहीं हो सका कि डारिया का बिना विजा पासपोर्ट के भारत में आने के पीछे का मकसद क्या था।

ये भी पढ़े : युवती ने अश्लील वीडियो चैट कर बनाया एमएमएस, सोशल मीडिया पर वायरल करने की दी धमकी, मांगे 20 हजार रुपये


डारिया पर ये थे आरोप

डारिया को गोरखपुर पुलिस और एसटीएफ ने दो पासपोर्ट और फर्जी ड्राइविंग लाइसेंस के साथ एक होटल से गिरफ्तार किया था। वह नेपाल के साथ भारत से निकलने के प्रयास में थीं। कैंट थाना पुलिस ने डारिया के खिलाफ केस दर्ज किया था।  इसके मोबाइल से कुछ बडे अधिकारियों के साथ उसकी आपत्तिजनक तस्वीरें भी मिली थीं। इसके अलावा दिल्ली और गोरखपुर के कई बड़े कारोबारी भी उनके संपर्क में थे। अंदेशा लगाया गया था कि डारिया ब्लैकमेलिंग कर देश की खुफिया जानकारी लीक कर रही हैं। हालांकि अभी उनकी मोबाइल और टैबलट की फरेंसिक रिपोर्ट आना बाकी है। ख़ुफ़िया एजेंसियों को शक है कि डारिया मोलचन हनी ट्रैप हो सकती है।

If You Like This Story, Support NYOOOZ

NYOOOZ SUPPORTER

NYOOOZ FRIEND

Your support to NYOOOZ will help us to continue create and publish news for and from smaller cities, which also need equal voice as much as citizens living in bigger cities have through mainstream media organizations.

अन्य गोरखपुर की अन्य ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए यहाँ क्लिक करें और अन्य राज्यों या अपने शहरों की सभी ख़बरें हिन्दी में पढ़ने के लिए NYOOOZ Hindi को सब्सक्राइब करें।

Related Articles