UP सरकार का शासनादेश: OBC से SC की लिस्ट में शामिल हुई ये 17 जातियां, जानिए क्या-क्या मिलेगा लाभ?

संक्षेप:

  • योगी आदित्यनाथ सरकार ने पिछड़े वर्ग (ओबीसी) की 17 जातियों को अनुसूचित जातियों की लिस्ट में डाल दिया है.
  • इनमें कहार, कश्यप, केवट, मल्लाह, निषाद, कुम्हार, प्रजापति, धीवर, बिन्द, भर, राजभर आदि शामिल है.
  • अब इन जातियों के लोग अनुसूचित जाति को मिलने वाले लाभ के पात्र बन जाएंगे.

लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार ने पिछड़े वर्ग (ओबीसी) की 17 जातियों को अनुसूचित जातियों की लिस्ट में डाल दिया है. इनमें कहार, कश्यप, केवट, मल्लाह, निषाद, कुम्हार, प्रजापति, धीवर, बिन्द, भर, राजभर आदि शामिल है. अब इन जातियों के लोग अनुसूचित जाति को मिलने वाले लाभ के पात्र बन जाएंगे. उन्हें सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक तीनों लाभ मिलेंगे. आखिर ओबीसी से अनुसूचित जाति में आने पर क्या-क्या लाभ मिलता है, जिससे इन जातियों के जीवन स्तर में सुधार आएगा.

आईए बताते हैं आपको ओबीसी से अनुसूचित जाति में आने पर मिलेंगे कौन-कौन से लाभ

राजनीति में बढ़ेगी भागीदारी, चुनाव में मिलेगा आरक्षण का लाभ

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इन जातियों की राजनीति में भागीदारी बहुत कम है, लेकिन अब इन्हें चुनाव में आरक्षण का लाभ मिलेगा. यूपी में अनुसूचित जातियों के लिए 17 लोकसभा जबकि 403 विधानसभाओं में से 86 रिजर्व हैं. इनमें इन जातियों को चुनाव लड़ने का अवसर मिलेगा. ओबीसी के लिए सीटें रिजर्व नहीं हैं.

अब इन जातियों के हितों की रक्षा अनूसूचित जाति आयोग करेगा, अपशब्द कहने पर लगेगा SC ST Act

इस समय अगर कोई सवर्ण ओबीसी की पिटाई करता है तो उस पर पुलिस सामान्य धाराओं में कार्रवाई करती है, लेकिन अनुसूचित जाति के व्यक्ति की पिटाई या फिर उसे अपशब्द कहने पर एससी एक्ट (SC ST Atrocities Act) लगेगा. इसके तहत आरोपी की तुरंत गिरफ्तारी होगी. अगर पुलिस प्रशासन कार्रवाई नहीं करता है तो पीड़ित राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग का दरवाजा खटखटा सकता है. चूंकि इस आयोग को ज्यूडिशियल पावर प्राप्त है, इसलिए इसके आदेशों की अवहेलना करने से अधिकारी बचते हैं.

सभी सरकारी संस्थान में मिलेगा आरक्षण का लाभ

ओबीसी को 27 फीसदी आरक्षण है, लेकिन इसमें तीन हजार से अधिक जातियां हैं. इसलिए उसका लाभ मिल नहीं पाता. लेकिन अनुसूचित जाति में इसके मुकाबले काफी कम जातियां हैं और आरक्षण 21 फीसदी इसलिए इसका लाभ सभी को मिल पाता है. सभी सरकारी संस्थानों में उन्हें एससी आरक्षण का लाभ मिलने लगेगा, जिससे उनका तेजी से विकास होगा.

स्कूल-कॉलेज के फीस में छूट

दलित नेता और आरटीआई एक्टिविस्ट ओपी धामा का कहना है कि अनुसूचित जातियों के छात्रों को ज्यादातर प्रतियोगी परीक्षाओं में कोई शुल्क नहीं देना पड़ता, जबकि ओबीसी छात्रों से अधिकांश जगहों पर सामान्य के बराबर ही शुल्क लिया जाता है. स्कूल, कॉलेजों में फीस नाम मात्र की है. स्कॉलरशिप भी मिलती है. केंद्र सरकार ने अनुसूचित जाति के बच्चों की पढ़ाई-लिखाई के लिए देश भर में लगभग 10 हजार डे बोर्डिंग स्कूल बनाए हैं.

फ्री कोचिंग की सुविधा

संघ लोक सेवा आयोग, कर्मचारी चयन आयोग और विभिन्‍न रेलवे भर्ती बोर्डों तथा राज्‍य लोक सेवा आयोग द्वारा संचालित गुप-ए, बी पदों, बैंकों, बीमा कंपनियों और सार्वजनिक उपक्रमों द्वारा संचालित अधिकारी ग्रेड की परीक्षाओं के लिए फ्री कोचिंग सुविधा मिलती है.

यूपी सरकार ने दिए प्रमाण पत्र बनाने के आदेश

योगी सरकार ने अपने इस फैसले के बाद सभी जिलाधिकारियों को इन जातियों के परिवारों को प्रमाण दिए जाने का आदेश दे दिए हैं. राज्यपाल ने उत्तर प्रदेश लोक सेवा अधिनियम 1994 की धारा 13 के अधीन शक्ति का प्रयोग करके इसमें संशोधन किया है. प्रमुख सचिव समाज कल्याण मनोज सिंह की ओर से इस बाबत सभी कमिश्नर और डीएम को आदेश जारी किया गया है, जिसमें कहा गया है कि इलाहाबाद हाईकोर्ट में इस बाबत जारी जनहित याचिका पर पारित आदेश का अनुपालन सुनिश्चित किया जाए. इन जातियों को परीक्षण और सही दस्तावेजों के आधार पर अनुसूचित जाति का जाति प्रमाण पत्र जारी किया जाए.

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