ट्रांसफैट-केमिकल से भरपूर फ्रेंच फ्राइज में होती है 312 कैलरी और बढ़ता है 15 ग्राम फैट

संक्षेप:

  • जंक फूड खाने से कई बीमारियों का बना रहता है खतरा
  • शुगर लेवल, ब्लड प्रेशर और कलेस्ट्रॉल लेवल में इजाफा होता है
  • 100 ग्राम फ्रेंच फ्राइज में 312 कैलरी और 15 ग्राम फैट होता है

अगर आप भी जंक फूड खाने का शौक रखते है, तो आप पर कई तरह की बीमारियां होने का खतरा है। जंक फूड में इस्तेमाल होने वाले तेल, नमक और चीनी की ज्यादा मात्रा का सीधा असर लीवर और पैनक्रियाज पर होता है। इससे शरीर में शुगर लेवल, ब्लड प्रेशर और कलेस्ट्रॉल लेवल में इजाफा होने लगता है। इन सब कारणों से 15-16 साल के बच्चों में भी न सिर्फ मोटापा बढ़ता है बल्कि वे छोटी उम्र में ही डायबीटीज के शिकार हो जाते हैं और 30-35 साल तक पहुंचते-पहुंचते उन्हें हार्ट की बीमारी हो जाती है।

अपोलो स्पेक्ट्रा हॉस्पिटल के वेट लॉस सर्जन डॉ. आशीष भनोत ने बताया कि बच्चों में मोटापे को कम करने के लिए सबसे ज्यादा उनकी कैलरी पर कंट्रोल करना होगा। जंक फूड के जरिए वे ज्यादा से ज्यादा कैलरी लेते हैं, लेकिन फिजिकल ऐक्टिविटी बिलकुल नहीं करते जिस वजह से उनकी कैलरी बर्न नहीं होती और यह फैट के रूप में बॉडी के अंदर जमा होने लगती है। लिहाजा बेहद जरूरी है कि जितना हो सके बच्चों को जंक फूड और मीठा खाने से बचाएं।

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वहीं वैज्ञानिकों की मानें, तो फैट्स और कार्बोहाइड्रेट से भरपूर जंक फूड आइटम्स हमारे ब्रेन के रिवॉर्ड सिस्टम को प्रभावित करते हैं और इसीलिए हम जंक फूड से दूर नहीं रह पाते। फैटी और कार्बोहाइड्रेट-रिच फूड दिमाग को सिग्नल भेजने वाले अलग-अलग रास्तों के ज़रिए रिवॉर्ड सिस्टम को ऐक्टिवेट करते हैं। जब फैट और कार्बोहाइड्रेट खाने में एक साथ मिलते हैं, तो इसका प्रभाव और बढ़ जाता है। ट्रांसफैट और केमिकल से भरपूर फ्रेंच फ्राइज से न सिर्फ मोटापा बढ़ता है बल्कि हाइपरटेंशन, डायबीटीज और दिल की बीमारियां भी हो सकती हैं। 100 ग्राम फ्रेंच फ्राइज में 312 कैलरी और 15 ग्राम फैट होता है।

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