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सिस्टम पर सवाल: रेल लाइन के किनारे तीन किमी पैदल चलने पर मिलती है मंजिल, इस वजह से ठगा महसूस कर रहे यात्री
- न्यूज़
- Wednesday | 12th June, 2024
दिल्ली तो अभी दूर है, कैंट से जंक्शन तक की राह पहाड़ चढ़ने जैसी हो गई है।
यात्रियों की मुश्किलों के साथ संरक्षा और सुरक्षा प्रभावित होने की भी आशंका बढ़ गई है।
रेलवे प्रशासन ऐसे ही उदासीन रहा तो कभी भी कोई हादसा हो सकता है। इसे भी पढ़ें-गोरखपुर में शार्ट सर्किट से लगी आग में घिरा परिवार, दो की मौत, नौ झुलसे मंगलवार को कैंट स्टेशन पर सुबह छह बजे के आसपास जैसे ही 05449 नंबर की नरकटियागंज- कैंट पैसेंजर ट्रेन रुकी प्लेटफार्म नंबर तीन पर हजारों यात्री उतर गए।
किसी को कोचीन एक्सप्रेस पकड़नी थी, तो कई दिल्ली, पंजाब और मुंबई जाने के लिए परेशान थे।
कुछ मरीज भी थे, जो चिकित्सक को दिखलाने जा रहे थे।
सबको जल्दी थी। बाहर निकलने को कोई रास्ता नहीं सूझा तो यात्री ताल होते हुए रेल लाइन के किनारे पैदल ही गोरखपुर जंक्शन की तरफ चल दिए।
अधिकतर रेल लाइन पर चलने लगे।
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