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UP News: गोरखपुर चिड़ियाघर का नवाब था पटौदी, दहाड़ से भय में आ जाते थे वन्यजीव
- न्यूज़
- Friday | 16th May, 2025

गोरखपुर चिड़ियाघर।
जागरण इसी बीच गुरुवार को कानपुर में उसकी मौत हो गई।
आशंका जताई जा रही है कि पटौदी की मौत भी बर्ड फ्लू से हुई है।
भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (आइवीआरआइ) बरेली से आई चिकित्सकों के टीम की जांच में उसके अंदर भी वैसे ही लक्षण थे, जैसे भेड़िया भैरवी और बाघिन शक्ति में मिले थे। इसे भी पढ़ें- Bird Flu: गोरखपुर के बाद कानपुर चिड़ियाघर भी कुछ दिनों के लिए बंद, सभी 1200 जानवरों की हो रही जांचचिड़ियाघर के उपनिदेशक डा. योगेश प्रताप सिंह ने बताया कि पटौदी को जंगल से रेस्क्यू कर सबसे पहले वर्ष 2012-13 में गुजरात के शक्करबाग लाया गया था।
कुछ वर्षों बाद इसे इटावा सफारी पार्क भेज दिया गया।
इसके बाद वह गोरखपुर चिड़ियाघर आया था।
बीमार होने और जांच में लिवर समेत शरीर में संक्रमण मिलने पर वन मंत्री के निर्देश पर उपचार के लिए कानपुर चिड़ियाघर भेजा गया था। डा. योगेश ने बताया कि वह पहला ऐसा बब्बर शेर था, जिसे वन विभाग की टीम रेस्क्यू नहीं करना चाहती थी।

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