ब्लाकचेन सिस्टम पर तैयार होंगे भूमि रिकार्ड, आइआइटी कानपुर का एलडीए से करार, कर्नाटक भी ले रहा मदद

कानपुर,

भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) कानपुर के दीक्षा समारोह में प्रधानमंत्री ने जिस ब्लाकचेन तकनीक पर आधारित डिजिटल डिग्री का शुभारंभ किया था, संस्थान ने अब लखनऊ विकास प्राधिकरण (एलडीए) और कर्नाटक राज्य में भूमि संबंधी रिकार्ड तैयार करना शुरू किया है।

इस उन्नत तकनीक में कोई भी व्यक्ति डिजिटल दस्तावेजों में छेड़छाड़ या बदलाव नहीं कर सकेगा।

कुछ निजी कंपनियों ने भी अपने दस्तावेजों व शेयर को ब्लाकचेन आधारित बनाने की इच्छा जताई है।

आइआइटी के प्रो. अमेय करकरे ने बताया कि ब्लाकचेन प्रणाली में डाटा ब्लाक में सुरक्षित रहता है।

कोई व्यक्ति डाटा को अपलोड भी करना चाहे तो उसमें बदलाव नहीं कर सकता।

साफ्टवेयर की मदद से डाटा के कुछ ही अंश को ही प्रदर्शित करने की सुविधा मिलती है।

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