उत्तराखंड विधानसभा चुनाव: हल्द्वानी से पहाड़ के लिए चार दिनों तक ठप रहेगा आवागमन

संक्षेप:

  • चार दिनों तक ठप रहेगा आवागमन
  • 20 हजार से अधिक लोगों को होगी दिक्कतें
  •  370 बसों का हुआ अधिग्रहण 

हल्द्वानी। विधानसभा चुनाव के चलते केमू, जीमू और आदर्श मोटर्स की पहाड़ के विभिन्न रूटों पर चलने वाली 370 बसों का अधिग्रहण हो गया है। बसें निर्वाचन ड्यूटी में जाने की वजह से पहाड़ से हल्द्वानी के बीच 12 से लेकर 15 फरवरी तक यानी चार दिनों तक बसों का संचालन ठप रहेगा। इससे 20 हजार से अधिक लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा। इधर, निर्वाचन में अधिग्रहण होने से यात्रियों को टैक्सियां तक नहीं मिल पाएंगी।

विधानसभा चुनाव के लिए 14 फरवरी को मतदान होना है। इसके लिए हल्द्वानी संभागीय परिवहन विभाग द्वारा केमू, जीमू और आदर्श मोटर्स की बसों के अलावा टैक्सियों का अधिग्रहण किया गया है। ये वाहन पोलिंग पार्टियां को मतदान केंद्रों तक ले जाने के लिए अधिग्रहित किए गए हैं। सबसे बड़ी दिक्कत यह है कि पहाड़ के लिए में प्राइवेट बसें एवं गाड़ियां न होने के कारण हल्द्वानी संभागीय परिवहन कार्यालय को पिथौरागढ़, बागेश्वर, चंपावत और अल्मोड़ा जिलों के लिए भी यहां से गाड़ियों का अधिग्रहण करना पड़ा है। निर्वाचन कार्य के लिए केमू की 238 बसों के अलावा रामनगर से संचालित होने वाली जीएमयू और आदर्श मोर्टस की बसों को मिलाकर करीब 370 बसों का अधिग्रहण किया गया है।

इधर, हल्द्वानी से केमू की बसों का संचालन पिथौरागढ़, बागेश्वर, गंगोलीहाट, अल्मोड़ा, धानाचूली, रामगढ़, शहरफाटक, रानीखेत, द्वाराहाट समेत विभिन्न पर्वतीय स्थानों के लिए होता है। इस तरह 15 हजार से अधिक यात्री हल्द्वानी से पहाड़ के रूट पर आते- जाते हैं। इसके अलावा टैक्सियों व अन्य वाहनों से 5 हजार यात्री पहाड़ के मार्गों पर सफर करते हैं। बसें एवं टैक्सियों का संचालन बाधित होने पर पहाड़ के लोगों को आने- जाने में काफी समस्या आने वाली है।

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रोडवेज बसों का आज संचालन होगा प्रभावित

रोडवेज की 53 बसें निर्वाचन में लगने के कारण शनिवार को संचालन प्रभावित होगा। हल्द्वानी डिपो के एआरएम सुरेंद्र सिंह बिष्ट ने बताया कि शनिवार को हल्द्वानी और काठगोदाम डिपो की 16 बसें अल्मोड़ा निवार्चन के लिए जा रही हैं जबकि 37 बसें स्थानीय स्तर पर मांगी गई हैं। इस वजह से विभिन्न रूटों पर चलने वाली बसों की संख्या कम रहेगी। उन्होंने कहा कि यात्रियों को असुविधा न हो, इसके लिए व्यवस्था बनाई जा रही है।

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